मध्य प्रदेश के भिंड में एक दर्दनाक घटना में शराब के नशे में धुत ट्रक ड्राइवर ने एक गाय को रौंद दिया और 15 किलोमीटर तक घसीटते हुए ले गया। घटना ग्वालियर-इटावा नेशनल हाइवे 719 पर हुई। नपा उपाध्यक्ष ने ट्रक को रोककर गाय को बाहर निकाला और ड्राइवर को पुलिस के सुपुर्द किया।
वह ट्रक जिसकी टक्कर के बाद उसके नीचे फंस गई थी गाय।
- शराब के नशे में धुत ड्राइवर ने गाय को रौंद दिया।
- 15 किलोमीटर तक घसीटते हुए ले गया ट्रक ड्राइवर।
- पुलिस ने 36 घंटे बाद भी नहीं की है कोई कार्रवाई।
भिंड। ग्वालियर-इटावा नेशनल हाइवे 719 पर इटावा की तरफ से आलू भरकर तेजी से आ रहे ट्रक ने फूफ कस्बे में एक गाय को रौंद दिया। ट्रक में चालक हेल्पर के साथ शराब पार्टी कर रहता आ रहा था।
शराब के नशे में धुत्त ड्राइवर ने गाय को टक्कर मारने के बाद भी ट्रक को नहीं रेाका। इससे गाय का शव ट्रक के नीचे फंस गया और घिसटते हुए 15 किमी भिंड तक आ गया। नपा उपाध्यक्ष भानु भदौरिया ने किसी तरह ट्रक को रोककर गाय को बाहर निकाला और ड्राइवर को कोतवाली पुलिस के सुपुर्द किया।
घटनाक्रम सोमवार को रात करीब 11 बजे का है। पुलिस ने 36 घंटे बीतने के बाद भी न तो एफआईआर दर्ज की और न ही दूसरी कोई कार्रवाई की।
उपाध्यक्ष ने गाड़ी आगे लगाकर ट्रक को रोका
बता दें, कि ट्रक क्रमांक आरजे 11 जेसी 0805 जसवंत नगर से आलू भरकर ग्वालियर जा रहा था। ड्राइवर शराब पार्टी करता हुआ आ रहा था। फूफ कस्बे में कोहरे के चलते हाइवे पर खड़ी गाय को ट्रक ने रौंद दिया।
ट्रक के निचले हिस्से में फंस गई थी गाय
ड्राइवर ट्रक को तेजी से भगातार हुआ भिंड की तरफ लाया। बताया जाता है, कि टक्कर के बाद गाय ट्रक के निचले हिस्से में फंस गई। इससे घिसटते हुए भिंड तक आ गई। नपा उपाध्यक्ष का कहना है, कि फूफ से उन्हें किसी ने फोन पर हादसे की जानकारी दी।
गाड़ी आगे लगाई तब ड्राइवर रुका
वह अपने दोस्तों के साथ ट्रक को रोकने के लिए निकल आए। इटावा पर ट्रक को रोकने का प्रयास किया, लेकिन ड्राइवर ने ट्रक नहीं रोका। इसके बाद उन्होंने अपनी गाड़ी ट्रक के आगे लगाई तब ड्राइवर रुका। उपाध्यक्ष के मुताबिक जब ट्रक रुका तो उसके नीचे गाय फंसी हुई थी।
अब पुलिस ही फरियादी बनेगी
घिसटने के बाद शव की बुरी हालत हो गई थी। ट्रक को सिटी कोतवाली में खड़ा कराकर ड्राइवर को पुलिस के सुपुर्द कर दिया। उपाध्यक्ष का आरोप है, कि पुलिस ने 36 घंटे बाद भी कोई कार्रवाई नहीं की है। कोतवाली टीआई प्रवीण चौहान का कहना है, कि मामले में एफआईआर कराने के लिए कोई आगे नहीं आया है। अब पुलिस ही फरियादी बनेगी।